पिपरा का खाजा व्यापारियों को बनाएगा राजा, उधोग मंत्री की घोषणा के बाद ख़ुशी की लहर
बिहार के उद्योग मंत्री शाहनवाज हुसैन द्वारा पिपरा के महावीर चौक पर यहां के खाजा को उद्योग से जोड़ने की घोषणा के बाद से स्थानीय खाजा व्यापारी काफी उत्साहित हैं। जानकारी के लिए बता दे की देश की आजादी से पहले से यहां खाजा बनाने का काम हो रहा है।
पूर्व प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी और विश्वनाथ प्रताप सिंह को भी यहां संदेश के तौर खाजा दिया गया था। अब जब पहली बार इसे उद्योग से जोड़े जाने की बात मंत्री स्तर से कही गई है तो व्यवसायियों को लगने लगा है कि खाजा अब उन्हें ‘राजा’ बनाएगा।
पहले गोल-गोल बनता था खाजा
जागुर त्रिवेणीगंज से आकर गोनी साहू ने यहां खाजा बनाने का कारोबार शुरू किया था। खाजा व्यापारी संजीत कुमार बताते हैं कि शुरुआती दौर में गोल-गोल आजा बनाया जाता था। उसकी विशेषता थी कि वह काफी मुलायम होता था।
खाजा इतना मुलायम होता था की अगर खाजा पर चवन्नी भी गिर जाए तो धंस जाती थी। बाद में लंबा खाजा बनाना शुरू हुआ और लोगों की मांग पर खाजा को कड़ा किया जाने लगा।
100 से अधिक दुकानें, 300 लोगों को रोजगार
प्रसिद्धि इतनी है कि सहरसा-वीरपुर एनएच 106 और सुपौल-त्रिवेणीगंज एनएच 327ई से इस प्रखंड मुख्यालय होकर जो भी यात्री गुजरते हैं वह खाजा जरूर खरीदते हैं। कोसी महासेतु बनने के बाद यह रोजगार और बढ़ा है।
खाजा की बिक्री देखते हुए दिनोंदिन दुकानें खुलती जा रही है और अभी 100 से अधिक दुकानें चल रही हैं जिसमें तीन सौ से अधिक लोगों को रोजगार मिल रहा है। देसी घी और रिफाइंड दोनों से खाजा तैयार किया जाता है। रिफाइन वाला खाजा 120 रुपये और घी वाला खाजा 250 से 270 रुपये प्रति किलो बिकता है।
मेहमानों को खाजा देने का है रिवाज
खाजा का कारोबार शुरू करने वाले गोनी साहू की पांचवीं पीढ़ी के व्यवसायी सुरेश शाह, रमेश शाह, चंदन शाह, सतीश शाह, प्रकाश शाह आदि बताते हैं कि पर्वों में खाजा की मांग काफी बढ़ जाती है। नेपाल सहित पूर्णिया, बेगूसराय, खगडिय़ा तक के व्यापारी यहां से खाजा खरीद कर ले जाते हैं।
प्रतिदिन 10-15 क्विंटल से अधिक खाजा की बिक्री होती है लेकिन पर्वों के समय में यह बिक्री दो गुना तक बढ़ जाती है। स्थानीय लोग बताते हैं कि पूर्व प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी, बीपी सिंह सहित कई मंत्रियों ने यहां सभा की और जाते वक्त स्थानीय कार्यकर्ताओं द्वारा संदेश के रूप में खाजा देकर विदा किया गया।