बिहार में नए उद्यमियों की किस्मत का खुला ताला, 16 हजार को मिलेंगे 10-10 लाख रुपए
बिहार में स्वरोजगार की राह पर बढ़ रहे 62 हजार से अधिक नए उद्यमियों की किस्मत का फैसला आज हो रहा है। आज ही राज्य के 16 हजार युवा उद्यमियों का चयन किया जाएगा, जिन्हें 10 लाख रुपए रोजगार के लिए दिए जाएंगे। इनमें से पांच लाख रुपए लोन के तौर पर जबकि पांच लाख रुपए सरकार की ओर से अनुदान के तौर पर दिए जाएंगे। मुख्यमंत्री उद्यमी योजना के तहत 5 लाख ऋण एवं 5 लाख अनुदान के लिए प्रतीक्षारत आवेदकों के लिए यह अच्छी खबर है।
कंप्यूटर के जरिए सफल अभ्यर्थियों के रैंडम सेलेक्शन की प्रक्रिया शुरू हो चुकी है। इसका सीधा प्रसारण बिहार उद्योग विभाग के फेसबुक पेज पर किया जा रहा है। सुबह 11 बजे यह प्रक्रिया शुरू की गई। इस मौके पर राज्य के उद्योग मंत्री सैयद शाहनवाज हुसैन को भी इस कार्यक्रम में शामिल होने की उम्मीद है।
बिहार मुख्यमंत्री उद्यमी योजना क्या है?
इस योजना के अंतर्गत सभी वर्ग के युवाओं को उद्यम शुरू करने के लिए प्रोत्साहित किया जाएगा। जिसके लिए उनको 10 लाख रुपए तक का ऋण प्रदान किया जाएगा। इसके अलावा सरकार द्वारा योजना की कुल लागत का 50% या अधिकतम ₹5,00,000 तक का अनुदान भी प्रदान किया जाएगा एवं बाकी ₹5,00,000 रुपए पर लाभार्थी को 1% ब्याज देना होगा।
आठ हजार की बजाय 16 हजार उद्यमियों को मिलेगा लाभ
उद्योग मंत्री के मुताबिक पहले से तय 8,000 की जगह अब 16,000 उद्यमियों को 5 लाख ऋण और 5 लाख अनुदान मिलेगा। मुख्यमंत्री उद्यमी योजनाओं के तहत लाभार्थियों का चयन पूरी पारदर्शिता से होगा। उद्योग विभाग के वरिष्ठ अधिकारियों, राज्य के सभी उद्योग संगठनों के प्रतिनिधियों की मौजूदगी में पूरी चयन प्रक्रिया सूचना एवं जन संपर्क विभाग के फेसबुक और यूटयूब चैनल और उद्यमी वेबसाइट पर लाइव दिखाया गया।
अलग-अलग योजनाओं के जरिए मिलेगा लाभ
आपको बता दें कि मुख्यमंत्री उद्यमी योजना को अलग-अलग चार सेगमेंट में बांटा गया है। इनमें मुख्यमंत्री युवा उद्यमी योजना, मुख्यमंत्री महिला उद्यमी योजना, मुख्यमंत्री एससी-एसटी उद्यमी योजना, मुख्यमंत्री पिछड़ी जाति उद्यमी योजना शामिल है। महिला उद्यमी योजना के लाभुकों को पांच लाख रुपए का लोन पूरी तरह ब्याज के बगैर दिया जाएगा।
अन्य वर्गों को एक प्रतिशत ब्याज देना होगा। आपको बता दें कि तयशुदा कोटा से कई गुना अधिक आवेदन आने के बाद सरकार ने योजना का दायरा बढ़ाने का फैसला लिया था। आपको बता दें कि इस योजना के तहत 62 हजार से अधिक लोगों ने आवेदन दिया था।