खगड़िया कुशेश्वरस्थान रेल परियोजना 19 साल से अधूरा, रेल मंत्री ने कही ये बात
वर्षों बाद भी बिहार के खगड़िया- कुशेश्वरस्थान रेल परियोजना (Khagaria Kusheshwarsthan Rail Project) का काम पूरा नहीं हो सका है। इस परियोजना को 1998 में स्वीकृति मिली थी लेकिन बीते 19 साल में खगड़िया- कुशेश्वरस्थान के बीच सिर्फ 19 किलोमीटर खगड़िया से अलौली गढ़ तक रेलवे की पटरी बिछाने और उसके मेंटेनेंस का काम पूरा किया जा सका है।
1998 से 2022 आ चुका है लेकिन अब तक इस परियोजना का काम पूरा नहीं पाया है। खगड़िया- कुशेश्वरस्थान रेल परियोजना में हो रही देरी को लेकर पिछले साल फरवरी में सांसद चौधरी महबूब अली केसर ने रेल मंत्रायल को पत्र भी लिखा था।
रेल मंत्री ने सांसद के पत्र का दिया ये जवाब
खगड़िया सांसद चौधरी महबूब अली केसर के द्वारा रेल मंत्रालय को पत्र लिखकर इस रेल परियोजना में हो रहे विलंब के विषय में पूछा गया था। इसके जवाब में केंद्रीय रेल मंत्री अश्वनी वैष्णव द्वारा बीते वर्ष 31 दिसंबर को पत्र जारी कर बताया गया कि खगड़िया- कुशेश्वरस्थान रेल लाइन 43 किलोमीटर की है। जो 162.87 करोड़ रुपये की लागत से शुरू की गई थी।
वर्तमान में परियोजना की अंतिम स्वीकृत लागत 614.45 करोड़ रुपये हैं। सांसद के पत्र के जवाब में रेल मंत्री ने बताया कि बीते वर्ष मार्च 2021 तक 349 करोड़ रुपये खर्च किए जा चुके हैं, जिसमें खगड़िया- अलौली गढ़ के बीच 19 किलोमीटर तक का कार्य चल रहा है।
परियोजना तेजी से आगे बढ़ेगा
रेल मंत्री अश्वनी वैष्णव ने कहा कि खगड़िया- कुशेश्वरस्थान रेल लाइन परियोजना का काम 19 किलोमीटर तक खगडिया से अलीगढ़ तक चल रहा है। बाकी अलौली गढ़ से कुशेश्वरस्थान तक कार्य को पूरा करने के लिए 118 हेक्टेयर भूमि का अधिग्रहण और जलीय भूभाग का अध्ययन कार्य शुरू है। रेल मंत्री ने बताया कि वित्तीय वर्ष 2021-22 के लिए इस परियोजना हेतु 20 करोड़ की राशि आवंटित की गई है, जिससे परियोजना की प्रगति और आवश्यकता पूर्ण होगी और कार्य तेजी से आगे बढ़ेगा।